तो दोस्तों क्या शिव पुराण पढ़ी है जाहिर सी बात है अगर पढ़ी होती तो आप Tumruka Ji Kaun Hai और ये किसके पुत्र थे इसके बारे में आपको जरूर पता होता तो चलिए जानते है की तुमरुका जी कौन थी और उनका शिव पुराण से क्या सम्बद्ध है तो इस पोस्ट को पूरा पढ़े जहाँ आपको इनके बारे में विस्तार से बताते है ?
तुमरुका जी किसकी पुत्री थी |
शिव पुराण के संस्कृत ग्रंथो के 18 पुराणों में एक ग्रन्थ है , यह ग्रन्थ मुख्य रूप से भगवान् शिव और माता पार्वती जी से जुड़ा है लेकिन इसमें सभी देवी देवताओ का वर्णन मिलता है | शिव पुराण बहुत ही पुराने अध्यायों में महत्वपूर्ण वेदांत वर्णन किया गया है | क्युकी इस पुराण में भगवान शिव के निराकार स्वरुप से लेकर ,शिवलिंग की उत्त्पति के बारे में तथा सृष्टि के निर्माण से जुडी रहस्मय बातो के बारे में आप इस पुराण में देखेंगे |
शिव पुराण में ही आपको tumbruka ji के बारे में वर्णन देखने को मिलेगा क्युकी तुमरुका जी कौन थी यह बात बहुत ही कम लोगो को पता होगी क्युकी इस बारे में आपको कही और नहीं हिन्दी कहानियाँ इसी शिव पुराण में देखने को मिलेगा ,जहाँ पर तुमरुका जी की जीवन विशेष की व्याख्यान देख सकते है तो चलिए जानते है की आखिर Tumruka Ji Kaun Hai और इनकी जीवन के कथा के बारे में जानेगे |
भगवान् शिव कितने भोले है ये तो आपको पता होगा इसलिए भगवान् शिव को भोलेनाथ के नाम से भी जाना जाता है और आपने भगवान् शिव की एक कहानी जरूर सुनी होगी जिसमे एक चोर शिव मंदिर में लगे घंटे को चुराने के लिए जाता है क्युकी घंटा भगवान शिव के ऊपर था और वह चोर उस घण्टे तक नहीं पहुंच पा रहा था तो उसने शिवलिंग के ऊपर चढ़ के जैसे ही घंटे को चुराने लगा तभी भगवान् शिव प्रसन्न होकर प्रकट हो गए और उस चोर से बोले मांगो जो मांगना हो
क्युकी भगवान् शिव ने कहा की मैंने बहुत से भक्त देखे जो की मुझ पर फूल ,धतूरा ,जैसी चीज़े चढ़ाता है लेकिन तुम तो स्वयं को ही मुझ पर चढ़ा दिए , इस बात से अंदाजा लगा सकते है की शिव शम्भू कितने भोले है लेकिन जब अपने भक्त की परीक्षा लेने पर आ जाये तो सभी कठिन परीक्षा में से एक परीक्षा लेते है प्रभु ऐसी ही घटना तुमरुका जी की है |
Tumruka Ji Kaun Hai
tumbruka ji एक शिव भक्त थे | जिसके शरीर तो एक मानव जैसा था लेकिन मुख उसका घोड़े जैसा था और हाथ में देवऋषि नारद की तरह वीणा है और जो शिव महा पुराण की कथा सुने रहे थे वो तुमरुका जी थे |जिन्हे tumbaru और tumbara के नाम से भी जाना जाता है जिनके पिता कश्यप और माता जी प्रधा थी तुमरुका के 4 भाई थे | तुमरुका एक विख्यात म्यूजिशियन और गायक थे |
thumruka ji ki photo
Tumruka Ji ki katha
रामायण के अनुसार tumburu एक बहुत ही विख्यात गायक था क्युकी उस समय वो ही एक ऐसा गायक भगवान विष्णु जी ने प्रमुख गायक पुरस्कार दिया था जिस वजह से नारद को इस बात से काफी खेद भी हुआ था और नारद मुनि तुमरुका जी से काफी जलन भी करने लगे थे | लेकिन भगवान विष्णु जी ने समझाया की नारद किसी से जलन नहीं करना चाहिए बल्कि उसको देखर अपने अंदर सुधार लाना चाहिए और तुमरुका जी से सीखना चाहिए | और आपको महाभारत में भी तुमरुका जी का नाम देखने को मिल जाता है यानि की एक शिव भक्त के साथ साथ एक अच्छे गायक भी थे |
जानकारी के लिए आपको बता दे महाभारत के अनुसार जब अर्जुन के जन्म के बाद एक समारोह रखा गया था तब उस समारोह में तुमरुका जी को भी बुलाया गया था और जब कौरव के सामने अर्जुन युद्ध कर रहे थे तो इस घटना को तुमरुका जी ने देखा था | यानि की आप समझ चुके होंगे की Tumruka Ji Kaun Hai और इनका शिव पुराण से लेकर रामायण और ,महाभारत में क्या महत्व है |
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